प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान: दो दिनों में 40 हजार से अधिक गर्भवती महिलाओं की जांच, 10 हजार हाई-रिस्क प्रेग्नेंसी चिन्हित

छत्तीसगढ़ में प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत दो दिनों में 843 स्वास्थ्य संस्थानों में 40 हजार से अधिक गर्भवती महिलाओं की जांच हुई। 10 हजार से अधिक महिलाओं की हाई-रिस्क प्रेग्नेंसी चिन्हित कर समय पर उपचार सुनिश्चित किया गया।

Sep 27, 2025 - 16:22
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प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान: दो दिनों में 40 हजार से अधिक गर्भवती महिलाओं की जांच, 10 हजार हाई-रिस्क प्रेग्नेंसी चिन्हित

UNITED NEWS OF ASIA. अमृतेश्वर सिंह, रायपुर। केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय की महत्वाकांक्षी योजना “स्वस्थ नारी, सशक्त परिवार” के तहत छत्तीसगढ़ में मातृत्व सुरक्षा को लेकर विशेष स्वास्थ्य सत्रों का आयोजन किया गया। प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान (PMSMA) के तहत 24 और 25 सितंबर को 843 शासकीय स्वास्थ्य संस्थानों में 40 हजार से अधिक गर्भवती महिलाओं ने स्वास्थ्य जांच, परामर्श और उपचार सुविधाओं का लाभ उठाया।

"छत्तीसगढ़ की महतारी, हम सबकी जिम्मेदारी" थीम पर आधारित इस कार्यक्रम का उद्देश्य मातृ मृत्यु दर को घटाना और उच्च जोखिम वाली गर्भवती महिलाओं की समय पर पहचान कर उन्हें उपचार उपलब्ध कराना है।

अभियान के दौरान गर्भवती महिलाओं का हीमोग्लोबिन, रक्तचाप, वजन, रक्त परीक्षण, अल्ट्रासाउंड और पोषण परामर्श किया गया। लगभग 10 हजार से अधिक महिलाओं को उच्च जोखिम गर्भावस्था (High-Risk Pregnancy) की श्रेणी में चिन्हित किया गया और विशेषज्ञ चिकित्सकों के परामर्श तथा सतत निगरानी में लाया गया।

विशेष उपलब्धियां:

  • 6 हजार से अधिक महिलाओं की अल्ट्रासोनोग्राफी की गई।

  • बिलासपुर जिले में हर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र तक विशेषज्ञ चिकित्सकीय सेवाएं पहुंचीं।

  • राज्य एवं जिला स्तर के वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा 187 सत्रों का प्रत्यक्ष निरीक्षण कर सेवाओं की गुणवत्ता सुनिश्चित की गई।

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा कि मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। दो दिनों में इतनी बड़ी संख्या में महिलाओं की जांच और उच्च जोखिम गर्भावस्थाओं की पहचान यह दर्शाती है कि स्वास्थ्य सेवाएं दूरस्थ अंचलों तक प्रभावी रूप से पहुँच रही हैं।

स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने कहा कि समय पर जांच और विशेषज्ञ सेवाओं से मातृ मृत्यु दर में उल्लेखनीय कमी लाई जा सकती है। यह अभियान केवल स्वास्थ्य का प्रश्न नहीं बल्कि सशक्त परिवार और समृद्ध समाज की मजबूत नींव है।