उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा बोले – बालिकाओं की रक्षा, शिक्षा और सशक्तिकरण के बिना विकास संभव नहीं
कबीरधाम में महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा ‘‘बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ’’ कार्यक्रम के अंतर्गत नवरात्रि पर्व पर भव्य कन्या पूजन समारोह आयोजित किया गया। उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा ने कन्याओं का पूजन कर बालिकाओं के सम्मान, सुरक्षा, शिक्षा और सशक्तिकरण को विकास का मूल आधार बताया। उन्होंने कहा कि बालिकाओं के उत्थान के बिना समाज और देश का विकास संभव नहीं। कार्यक्रम में सांसद संतोष पाण्डेय, विधायक भावना बोहरा सहित अनेक जनप्रतिनिधि उपस्थित रहे और कन्याओं का पूजन व भोजन कराया।

UNITED NEWS OF ASIA. कवर्धा। नवरात्रि पर्व के पावन अवसर पर महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा ‘‘बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ’’ कार्यक्रम अंतर्गत भव्य कन्या पूजन समारोह का आयोजन कबीरधाम में किया गया। इस कार्यक्रम में उपमुख्यमंत्री एवं गृहमंत्री विजय शर्मा मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। उन्होंने फूल-माला, कुमकुम, चंदन और चुनरी से कन्याओं का पूजन कर दीप प्रज्वलित किया और कन्या भोज का शुभारंभ किया।
कार्यक्रम में सांसद संतोष पाण्डेय, पंडरिया विधायक भावना बोहरा सहित अनेक जनप्रतिनिधियों ने माँ आदिशक्ति स्वरूप कन्याओं के चरण स्पर्श कर आशीर्वाद लिया। उपस्थित अतिथियों ने स्वयं कन्याओं को भोजन परोसा और बालिकाओं के सम्मान में अपना योगदान दिया।
बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ: विकास का आधार
अपने संबोधन में उपमुख्यमंत्री शर्मा ने कहा कि ‘‘बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ’’ योजना आज के समय की सबसे बड़ी आवश्यकता है। उन्होंने स्पष्ट कहा कि बालिकाओं की रक्षा, शिक्षा और सशक्तिकरण के बिना किसी भी कीमत पर समाज और देश का विकास संभव नहीं। बेटियों के सर्वांगीण विकास और आत्मसम्मान की सुरक्षा हमारी सामूहिक जिम्मेदारी है।
बालिकाओं के सम्मान का उत्सव
कन्या पूजन और भोज कार्यक्रम में पूर्व संसदीय सचिव डॉ. सियराम साहू, जिला पंचायत उपाध्यक्ष कैलाश चंद्रवंशी, नगर पालिका अध्यक्ष चंद्रप्रकाश चंद्रवंशी, जनपद अध्यक्ष गणपत सुषमा बघेल सहित कई जनप्रतिनिधियों ने माँ नवदुर्गा स्वरूप कन्याओं का पूजन कर भोजन कराया। कार्यक्रम में जिला कलेक्टर गोपाल वर्मा सहित प्रशासनिक अधिकारी भी उपस्थित रहे।
इस आयोजन में महिला एवं बाल विकास विभाग के अधिकारी-कर्मचारी, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, मिशन वात्सल्य एवं सखी वन स्टॉप सेंटर की टीमों का विशेष योगदान रहा। पूरा आयोजन बालिकाओं के सम्मान, शिक्षा और सशक्तिकरण के संदेश से ओतप्रोत रहा, जिसने समाज में कन्या शक्ति के प्रति जागरूकता और सम्मान का नया संकल्प स्थापित किया।