छत्तीसगढ़बस्तर

नक्सल प्रभावित क्षेत्र में देवदूत बने संजीवनी 108 के स्टाफ; जिस रास्ते में एम्बुलेंस का जाना हुआ मुश्किल, हाथ में स्ट्रेचर लेकर पहुंचे गर्भवती महिला के घर, फिर कराया सफल प्रसव 

UNITED NEWS OF ASIA. नारायणपुर। नक्सल प्रभावित और जंगलों से घिरे अबूझमाड़ इलाके में 108 एम्बुलेंस स्टाफ की मदद से सफल प्रसव कराया गया है. प्रसव पीड़ा से कराह रही महिला को 108 एम्बुलेंस की टीम ने 2 किलोमीटर तक स्ट्रेचर की मदद से पैदल चलकर एम्बुलेंस तक लेकर आ रही थी. लेकिन एम्बुलेंस तक पहुंचने से पहले ही महिला की प्रसव पीड़ा तेज हो गई. जिसके बाद परिजनों की अनुमति मिलने पर बीच रास्ते में ही ईएमटी (इमरजेंसी मेडिकल टेक्नीशियन) ने सूझबूझ से सफल प्रसव कराया. महिला ने स्वस्थ बच्चे को जन्म दिया. प्रसव के बाद जच्चा और बच्चा दोनों को एम्बुलेंस से सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ओरछा ले जाकर भर्ती कराया गया.

जानकारी के अनुसार, ओरछा ब्लॉक के मंडाली गांव कि गर्भवती महिला सोमारी पति महरू 30 वर्ष को प्रसव पीड़ा होने पर परिजनों ने संजीवनी 108 से संपर्क किया. सूचना मिलने पर ओरछा 108 से ईएमटी कमला और पायलट राजेश गांव की ओर निकले. बारिश के कारण रास्ता खराब होने के कारण गांव से दो किलोमीटर पहले ही एम्बुलेंस को रोकना पड़ा, क्योंकि कीचड़ में एम्बुलेंस के फसने का डर था और एम्बुलेंस टीम पैदल ही पीड़िता के घर पहुंची. जिसके बाद स्ट्रेचर की मदद से गर्भवती महिला को दो किलोमीटर लाया गया.

एम्बुलेंस के पास पहुंचने से पहले ही प्रसव पीड़ा बढ़ गई, जिसके बाद परिजनों से सलाह कर ईएमटी ने रास्ते में ही प्रसव प्रक्रिया प्रारम्भ किया. स्ट्रेचर के चारों तरफ कपड़े का पर्दा बनाकर घेरा किया गया और प्रसव कराया गया. इसमें मितानिन ने भी सहयोग किया. सफल प्रसव के बाद मां और बच्चे को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ओरछा में भर्ती कराया गया. फिलहाल, दोनों स्वस्थ हैं.

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Saurabh Namdev

| PR Creative & Writer | Ex. Technical Consultant Govt of CG | Influencer | Web developer
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