
UNITED NEWS OF ASIA. अमृतेश्वर सिंह, रायपुर। प्रदेश में खाद के संकट को सरकार प्रयोजित बताते हुए प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि खरीफ फसल के लिए लगभग 14 लाख मैट्रिक टन रासायनिक खाद की आवश्यकता पड़ती है ऐसे में सरकार ने मात्र चार लाख मैट्रिक टन खाद का भंडारण क्यों किया? यह प्रदेश में उपयोग किये जाने वाले कुल खाद का 38 प्रतिशत है। फिर 62 प्रतिशत खाद की कमी की आपूर्ति कैसे होगी? इसे साफ है किसानों को 62 प्रतिशत खाद नहीं मिलेगा यानी की 62 प्रतिशत खेती में खाद की कमी के चलते उत्पादन प्रभावित होगा। धान की पैदावार कम होगी। इससे सरकार को धान खरीदी कम करने का अवसर मिलेगा। सरकार कहेगी जितना धान पैदा हुआ उतना खरीदी कि। किसानों को जो आर्थिक नुकसान होगा उसकी भरपाई कौन करेगा?
प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि प्रदेश में 27 लाख से अधिक किसान धान उत्पादन करने पंजीकृत है लगभग 5 लाख किसान गैर पंजीकृत है 33 लाख हेक्टेयर से अधिक कृषि भूमि में धान की फसल लगाई जाती है सरकार के पास मात्र 4 लाख मीट्रिक टन खाद है। सिर्फ 5 लाख किसानों को ही खाद मिल पाएगा ऐसे में 27 लाख किसान को फसल लगाने खाद कहां से मिलेगा। 25 लाख से हेक्टर से अधिक भूमि में खाद की कमी होगी जिसे उत्पादन में फर्क पड़ेगा और किसानों को आर्थिक नुकसान होगा सरकार इसकी भरपाई कैसे करेगी।
प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि भाजपा सरकार किसान विरोधी है कांग्रेस सरकार की नकल करते हुए धान की कीमत 3100 प्रति क्विंटल 21 क्विंटल धान प्रति एकड़ खरीदने का वादा तो किया गया। लेकिन दो ही बार के धान खरीदी में सरकार की सांस फूलने लग गयी। डबल इंजन की सरकार बनने पर सब कुछ बेहतर होने का दावा करने वाले अब किसानों से धान खरीदना नहीं चाहते। इसलिए इस प्रकार से समस्या उत्पन्न करके जिम्मेदारियां से भाग रहे हैं। कांग्रेस मांग करती है किसानों को मांग के अनुसार खाद की उपलब्धता सुनिश्चित किया जाए। ताकि किसान पर्याप्त मात्रा में धान का उत्पादन कर सके और किसान समृद्ध हो।
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