शाकाहारी बच्चे को जन्म देने का सबसे पुराना और प्राकृतिक तरीका है। ज्यादातर डॉक्टर भी वैजिनल की सलाह देते हैं। वेजाइना के दौरान वेजाइना में कट लग जाता है, जिसकी वजह से वेजाइना में लग जाते हैं। हालांकि वैजाइनल नाराज हो या सीजेरियन दोनों में ही वैजाइना को एक्स्ट्रा केयर की जरूरत होती है। नॉर्मल अगर (पोस्टपार्टम वेजाइनल केयर) के बाद आपकी योनि का ध्यान कैसे रखना है, यह जानने के लिए गर्मियों के चश्मे पर हमारे साथ एक विशेषज्ञ हैं।
बच्चे के जन्म के बाद उसकी देखभाल के साथ खुद की सेहत का ध्यान रखना भी बहुत जरूरी है। अगर आपकी नॉर्मल शिकायत हुई है यानी बेबी वेजाइना से डिलीवर हुआ है, तो आपके लिए यह और भी ज्यादा जरूरी हो जाता है कि आप अपनी योनि के स्वास्थ्य पर खास ध्यान दें।
प्रोफाइल लाइफस्टाइल के कारण महिलाओं की सेहत प्रभावित होती है। किस वजह से वैजिनल शिकायत के आंकड़े कम होते आ रहे हैं। यदि प्रेग्नेंसी में खुद की उचित देखभाल करें, तो वेजिनल बहुत आसान हो जाता है। लेकिन कई बार प्रेग्नेंसी में कॉम्प्लीकेशंस आने की वजह से सिजेरियन यानी कि ऑपरेशन मेथड का इस्तेमाल करना पड़ता है।
सबसे पुराना और संक्षिप्त अंग है
वैजाइना शरीर के संवेदनशील अंगों में से एक है। शिकायत के बाद यह और अधिक संवेदनशील हो जाता है और इसकी विशेष देखभाल की आवश्यकता होती है। तो आप जानते हैं, शाकाहारी नाराज होने के बाद इसकी देखभाल कैसे करते हैं, साथ में ही शाकाहारी महिलाएं भी इसका अनुसरण कर सकती हैं।
ऑरा क्लिनिक, गुडगांव के डायरेक्टर एवं क्लॉड नाइन हॉस्पिटल, गुडगांव के सीनियर कंसल्टेंट डॉ रितु सेठी के बारे में हेल्थ शॉट्स ने सलाह ली। उन्होंने वैजाइनल कैर को लेकर कुछ जरूरी टिप्स पोस्ट किए हैं। तो आइए जानते हैं सटीक किस तरह अपनी वेजाइना की देखभाल करते हैं।
यहां पोस्ट हैं शाकाहारी केयर टिप्स (पोस्टपार्टम वेजाइनल केयर)
1. बैठने की मुद्रा का रखें विशेष ध्यान
सामान्य शिकायत के दौरान वेजीना में बर्थ कैनाल के अंदर एक छोटा सा कट लगाया जाता है। इसलिए ऐसा किया जाता है जिससे कि पेशाब की परत और एनस पर असर न पड़े और आसानी से हो जाए। आमतौर पर यह टाकने वाले घुलने वाले होते हैं, जो 10 दिन से लेकर 2 हफ्ते में डिजॉल्व हो जाते हैं। कई बार टांकों को हटवाने के लिए डॉक्टर के पास भी छोड़ दिया जाता है।
इस दौरान इन टैंकों की विशेष देखभाल की आवश्यकता होती है। इन पर ध्यान देना हर महिला के लिए अति आवशयक होता है। ऐसे में डॉ रितु सबसे पहले बैठने की मुद्रा पर ध्यान देने की सलाह देती हैं। एक ही साथ बैठने के लिए आरामदायक बैठने का प्रयोग करें। गलत मुद्रा में बैठने से आपके टांकों पर दबाव पड़ सकता है और वे खराब हो सकते हैं। डॉक्टर द्वारा स्पष्ट को लेकर दिए गए निर्देश को अवश्य फॉलो करें।
2. गुनगुने पानी से सिकाई करें
डॉ रितु सलाह देते हैं कि दिन में कम से कम दो बार पानी से टैंकों की सिंकाई जरूर करें। यह टैंक को हील होने में मदद करेगा और उन पर संक्रमण नहीं होगा। सिंकाई करने के बाद डॉक्टर द्वारा दी गई एंटीऑक्सीडेंट क्रीम को जरूर लगाएं।
3. पेशाब करने के बाद सफाई करना जरूरी है
पेशाब करने के बाद यदि आप अपनी वेजाइना को साफ नहीं करती हैं, तो वेजाइना में समझौता शुरू हो जाता है, जिसके कारण संक्रमण का खतरा बना रहता है। डॉक्टर रितु के अनुसार हर बार व्यायाम करने के बाद हल्के गुनगुने पानी से अपनी वेजाइना को साफ करें और घिरे हुए से उन्हें टैप करके सुखाएं। ध्यान रहे कि तौलिये को वैजाइना पर नहीं कहते, अन्यथा आपकी मेहनत बढ़ सकती है।
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4. उचित मात्रा में हेल्दी फ्लूइड जरूर लें
कई बार घर में मां या सासू मां नाराज होने के बाद कम पानी पीने की सलाह देती हैं। जबकि यह टांकों की स्थिति को खराब कर सकता है। डॉक्टर रितु अगर के बाद सभी महिलाओं को एक उचित मात्रा में हेल्दी फ्लूइड लेने की सलाह देते हैं। पर्याप्त मात्रा में पानी पिएं, प्रोबायोटिक ड्रू लें और अन्य हेल्दी फ्लूइड को डाइट में शामिल करें।
इससे किसी भी प्रकार का संक्रमण नहीं होगा आम तौर पर शिकायत के बाद यूटीआई होने का खतरा बना रहता है, जिससे बचने के लिए फ्लूइड इंटेक बढ़ाने की सलाह दी जाती है।
5. हेल्दी फूड्स का सेवन करें
अगर महिलाओं को बार-बार स्वस्थ रहने के लिए पदार्थों के सेवन की सलाह दी जाती है। यह उतना ही महत्वपूर्ण है जितना आपकी सेहत और ब्रेस्टफीडिंग के लिए आपके वैजाइनल हेल्थ के लिए भी जरूरी है। इस दौरान खाने और खाने से पूरी तरह परहेज करें। ये सेवन आपके पेट को असंतुलित कर देता है जिसकी वजह से पाचन संबंधी विकार जैसे कब्ज हो सकते हैं जो आपके टांकों के लिए उचित नहीं है।
पेशाब और मल त्याग करते जलन महसूस होती है, जो आपके टांकों को इरिटेट कर इन्फेक्शन को बढ़ावा दे सकता है। इन स्थितयों को अवॉयड करने के लिए खाद्य पदार्थों का विशेष ध्यान रखें। फाइबर युक्त फल और सूत्र का जादू, कुछ महीनों तक उतना ही महत्व देता है जितना कि भोजन। मसल्स से पूरी तरह परहेज करें।
6. इन नोटिस में डॉक्टर से संपर्क करें
डॉ रितु बताती हैं कि “यदि किसी शिकायत के बाद आपको अधिक ब्लीडिंग होती है या आपके वेजाइनल पत्राचार से खराब स्माइल आ रही है, तो फ़ौरन डॉक्टर से संपर्क करें। देखभाल अपनी जगह है, परंतु उपचार डॉक्टर ही कर सकते हैं। इन जानकारियों को देखकर आपका वेजाइनल हेल्थ के लिए नुकसानदेह हो सकता है।
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