एक तंग सीमा के बाद रिलैक्स होना या तनाव दूर हो जाना, आवश्यक तेल हर समस्या में टल जाते हैं। एसेंशियल ऑयल का कुछ दाग आपकी त्वचा को भी रिलैक्स कर सकता है और परेशान कर सकता है। पर आप क्या समेटे हुए हैं कुछ खास तरह के एसेंशियल ऑयल आपकी योनि के स्वास्थ्य के लिए भी फायदेमंद हैं। जी हां, हाल ही में एक अध्ययन में दावा किया गया है कि लैवेंडर ऑयल योनि संक्रमण (योनि संक्रमण के लिए लैवेंडर तेल) की समस्या से राहत दिला सकता है। कई तरह की पारंपरिक चिकित्साओं में भी इसका प्रयोग होता है।
75 प्रतिशत महिलाएं होती हैं योनि संक्रमण (योनि संक्रमण) की शिकार
इस अध्ययन के अनुसार, महिलाएं सबसे अधिक रोग महिला संबंधी संक्रमण के कारण डॉक्टर के पास जाती हैं। इसमें वैजिनल कैंडिडिआसिस (योनि कैंडिडिआसिस) प्रमुख है। यह अनुमान लगाया जाता है कि 75% महिलाएं अपने जुड़ाव में कम से कम एक बार वॉल्वर-वेजाइनल कैंडिडिआसिस से अनिवार्य रूप से बदल जाती हैं।
साइंस जर्नल में 2015 में वैजाइनल इन्फेक्शन पर लैवेंडर एसेंशियल ऑयल के प्रभावों पर शोध दस्तावेज़ प्रस्तुत किया गया। इसमें लैवेंडर एसेंशियल ऑयल (लैवेंडुला एंजुस्टिफोलिया) के एंटीफंगल प्रभाव भी कायम रहे।
वैजिनल इन्फेक्शन इनफर्टिलिटी (बांझपन) का कारण बन सकता है
भारत की तरह ईरान में भी पारंपरिक चिकित्सा के तौर पर लैवेंडर एसेंशियल आइल का प्रयोग वर्षों से हुआ है। इसलिए यहां के शोधकर्ता फ़िरशतेह बे पसंद, अली असग़र सेफ़ीदगर, मोहसिन तग़ीज़ादेह और उनकी टीम ने इस विषय पर वृहत अध्ययन की।
वैजाइनल इन्फेक्शन का शीघ्र निदान और उचित उपचार महत्वपूर्ण है। संक्रमण का सही समय पर उचित उपचार नहीं होने से पेल्विक सूजन, बांझपन, क्रोनिक पेल्विक दर्द, समय से पहले जन्म और एचआईवी संक्रमण के खतरे जैसे गंभीर लक्षण हो सकते हैं। इसलिए सुरक्षित और उचित उपचार होना महत्वपूर्ण है।
कौन-सा एसेंशियल ऑयल योनि संक्रमण (योनि संक्रमण) में शामिल है
लैवेंडर (Lavandula angustifolia) एक प्रकार की औषधीय जड़ी-बूटी है। लैवेंडर एसेंशियल ऑयल का उपयोग अक्सर पारंपरिक चिकित्सा में किया जाता है। वैजिनल कैंडिडिआसिस पर इसके प्रयोग पर कई अध्ययन हुए हैं। इस खोज में वेजाइनल कैंडिडा संक्रमण के 45 लोगों पर इसका प्रभाव पड़ा। खोज के अंत में 20 महिलाओं को इस बात का एहसास होता है। न सिर्फ वैजाइनल कैंडिडिआसिस, बल्कि दूसरी परिस्थितियों में भी यह आवश्यक सत्य साबित हुआ।
लैवेंडर की एंटी फंगस (एंटी फंगल) और एंटी बैक्टीरिया (एंटी बैक्टीरियल) गुण दूर करता है संक्रमण
असल में लैवेंडर एसेंशियल आयल में फब, विटामिन ए, विटामिन सी, मैग्नीशियम, कैल्शियम और आयरन मौजूद होता है। अरोमाथेरेपी, खाना पकाने के अलावा लैवेंडर आयल सौंदर्य प्रसाधन, साबुन, कोलोन में भी इसका उपयोग किया जाता है। लैवेंडर आयल संयंत्र (Lavandula angustifolia) से गड़बड़ी के माध्यम से प्राप्त किया जाता है, जो वायरल संक्रमण, एलर्जी, अवसाद, अनिद्रा, एक्जिमा और पीरियड क्रेम्प में इस्तेमाल किया जाता है।
लैवेंडर एसेंशियल आयल में एंटी-कारक और एंटी-जीवाणु गुण होते हैं। इसमें एंटी इंफ्लेमेटरी गुण भी होते हैं। इसलिए यह किसी भी प्रकार के योनि में हुए संक्रमण को दूर कर सकता है। वेजिनल स्मेल के लिए भी लैवेंडर एसेंशियल आयल का उपयोग किया जा सकता है। यह एक प्रभावशाली उपाय है।
कैसे करें अप्लाई (कैसे लगाएं लैवेंडर एसेंशियल ऑयल)
इंटरनेशनल जर्नल ऑफ एरोमाथेरेपी के शोध के अनुसार, वेजीना पर लैवेंडर एसेंशियल आइल अप्लाई करने से पहले डॉक्टर से संपर्क करना जरूरी है।
इसके लिए 2-3 नामांकन लागू करना काफी है। यहां यह जानना बेहद जरूरी है कि योनि के सामान्य अंगों पर इसका तेल जाने से तेज जलन और खुजली हो सकती है।
लेवेंडर एसेंशियल ऑयल की तलाश में कुछ महिलाओं के हिस्से में एलर्जी भी दिखी। इसलिए योनि पर आवेदन करने से पहले हाथ की त्वचा पर घना दृश्य जरूरी है।
लैवेंडर एसेंशियल आयल की अन्य एसेंशियल ऑयल से भी तुलना की गई। लैवेंडर के अलावा रोज एसेंशियल आइल में रोग बढ़ाने वाले बैक्टीरिया और फैटी इन्फेक्शन को खत्म करने वाले गुण पाए गए।
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