
UNITED NEWS OF ASIA. नई दिल्ली। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) के भारत द्वारा टैरिफ कटौती पर सहमति के दावे को भारत सरकार ने सिरे से खारिज कर दिया है। भारत के वाणिज्य सचिव सुनील बर्थवाल (Sunil Barthwal) ने सोमवार को संसदीय समिति को जानकारी दी कि भारत और अमेरिका के बीच टैरिफ कटौती को लेकर अभी तक कोई समझौता नहीं हुआ है। ट्रंप ने हाल ही में दावा किया था कि भारत अपने टैरिफ को ‘काफी हद तक कम’ करने के लिए तैयार हो गया है, लेकिन भारत सरकार ने इसे गलत और भ्रामक बताया है।
ट्रंप के दावे पर भारत का करारा जवाब
सुनील बर्थवाल ने स्पष्ट किया कि अमेरिका और भारत के बीच व्यापारिक वार्ता जारी है, लेकिन भारत ने किसी भी प्रकार के टैरिफ कटौती के लिए सहमति नहीं दी है।
विपक्ष ने उठाए सवाल, बर्थवाल ने दिया करारा जवाब
संसदीय समिति की बैठक के दौरान विपक्षी दलों के सांसदों ने इस मुद्दे पर सरकार को घेरा। एआईएमआईएम के असदुद्दीन ओवैसी, कांग्रेस के दीपेंद्र हुड्डा और टीएमसी की सागरिका घोष ने सवाल किया कि भारत, अमेरिका के टैरिफ फैसलों पर कनाडा और मेक्सिको की तरह कड़ी प्रतिक्रिया क्यों नहीं दे रहा है।
इसके जवाब में वाणिज्य सचिव ने कहा कि अमेरिका के साथ कनाडा और मेक्सिको के मामलों की तुलना नहीं की जा सकती, क्योंकि उनके बीच सीमा सुरक्षा और आप्रवासन से जुड़ी जटिलताएं हैं। भारत अपनी व्यापारिक स्थिति को मजबूत करने और घरेलू उद्योगों की सुरक्षा के लिए संतुलित नीति अपनाएगा।
भारत के हित सर्वोपरि – सुनील बर्थवाल
सुनील बर्थवाल ने कहा कि भारत और अमेरिका के बीच व्यापार वार्ता में भारत के हितों की पूरी रक्षा की जाएगी। भारत एक पारस्परिक रूप से लाभकारी समझौते पर हस्ताक्षर करेगा, जिसमें घरेलू उद्योगों की रक्षा को प्राथमिकता दी जाएगी।
क्या है असली मुद्दा?
- अमेरिका भारत से टैरिफ में कटौती की मांग कर रहा है।
- भारत ने इस पर सहमति देने से इनकार किया है।
- भारत ने साफ कहा कि घरेलू उद्योगों की सुरक्षा उसकी प्राथमिकता है।
- व्यापार वार्ता में दोनों देशों के हितों का संतुलन साधा जाएगा।
अब देखना होगा कि अमेरिका इस मसले पर कैसे प्रतिक्रिया देता है और भारत किस तरह से अपने हितों की रक्षा करता है।













