
पिछले एक दो दिन में अचानक ऐसा लग रहा है कि हमारे देश की कई फिल्में ऑस्कर पाने की पंक्ति में खड़ी हो गई हैं। कहीं निर्देशनों ने तो कहीं दलाली और कहीं, अभनेताओं ने भी दावे करना शुरू कर दिए हैं कि वो ऑस्कर की कड़ी में पहुंच गए हैं। हंसने वाली बात ये है कि उनके लिखने का अंदाज कुछ ऐसा है कि ऐसा लगता है कि अब लगता है कि वो आखिरी मौत पर हैं और ऑस्कर मिला ही समझो। इससे काफी दूर हैं। ऑस्कर की रेस में शमिल होना और लास्ट बेंच तक, दो अलग-अलग बातें हैं।
आइए ये समझते हैं कि कोई भी फिल्म ऑस्कर अवार्ड पाने के लिए क्वालीफाई कर सकती है।
12 मार्च को ऑस्कर पुरस्कार रेसलर की घोषणा होगी
रविवार 12 मार्च 2023 को मोशन पिक्चर्स की अकादमी और प्रस्तुस अकादमी अवार्ड्स द्वारा विज्ञापन, आपके 95 साल पूरे हो रहे हैं। कैलिफ़ोर्निया राज्य के लॉस एंजिल्स शहर में स्थित डॉल्बी स्टूडियोज़ में अवार्ड्स सेरेमनी में विचारों का आयोजन किया गया। 12 जनवरी 2023 से 17 जनवरी 2023 तक नामांकित मूवी के लिए वोटिंग की प्रक्रिया की जाएगी। इसके एक हफ्ते बाद यानी 24 जनवरी को जो मूवीज अकादमी अवार्ड्स के लिए नामांकित व्यक्ति की घोषणा की जाएगी। 13 फरवरी को सभी नामांकित व्यक्तियों और नामांकित व्यक्तियों को अकादमी की ओर से टैग का न्यौता दिया गया है। 2 मार्च से 7 मार्च तक नामांकन फिल्म, निर्देशन, अभिनेता और तकनीशियन के लिए फाइनल वोटिंग की जाएगी और फिर 12 मार्च को नामांकन की घोषणा की जाएगी।
2 स्तर पर चयन की प्रक्रिया होती है
ऑस्कर अवार्ड में दो बार चयन प्रक्रिया होती है। सेलेक्ट फर्स्ट प्रोसेस को लॉन्ग लिस्ट कहा जाता है जिसमें कोई भी फिल्म (यदि वो ऑस्कर की सिलेक्शन प्रकिया के लिए 100% खरी उतरी है) शामिल हो सकती है। निर्माता को यह अधिकार होता है कि वे अपनी फिल्म लंबी सूची के लिए भेज सकते हैं, ऑस्कर द्वारा पूरी जानकारी और फिल्म के आधिकारिक निर्माता होने के आपके द्वारा। इस लंबी लिस्ट की सड़कों के लिए पहले राउंड की वोटिंग होती है, जिसके बाद फिल्मों को शॉर्ट लिस्ट किया जाता है। अभी जारी सूची में अकादमी ने करीब 300 फिल्मों को शामिल किया है यानी ये फिल्में ऑस्कर अवार्ड की अलग-अलग श्रेणियों में शॉर्ट लिस्ट हो सकती हैं और फिर फाइनल अवार्ड के लिए उनका चयन हो सकता है।

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ऑस्कर पुरस्कारों के लिए नामांकित व्यक्ति जो आयवश नियम हैं वो हैं।
1. ऑस्कर अवार्ड की लॉन्ग लिस्ट में शामिल होने वाली नई फीचर फिल्म की अवधि 40 मिनट से अधिक होनी चाहिए।
2. इसके अलावा ये फिल्म लॉस एंजिल्स काउंटी, न्यूयॉर्क काउंटी, बे एरिया (सैन फ्रांसिस्को, मरीन, अलामेडा, सैन मटेओ, और कॉन्ट्रा कोस्टा), शिकागो (कुक काउंटी और इलिनॉय), मायामी (मायामी-डेड काउंटी और फ्लोरिडा) और अटलांटा ( फुल्टन काउंटी और जॉर्जिया) किसी भी व्यावसायिक सिनेमा थिएटर में टिके हुए शोज के क्षेत्र में दिखाई दिए।
3. और ये फिल्म इसी प्रोफेशनल सिनेमा थिएटर में कम से कम 7 दिन तक रोज दिखाई दी और शाम 6 बजे से लेकर 10 बजे के बीच कम से कम एक शो दिखाया।
4. इफिल्म के प्रदर्शन के बारे में सामान्य तरीके से किसी नाटकीय पहलू से फिल्म का प्रचार प्रसार किया गया ताकि यह दर्शकों को आकर्षित कर सके।
5. अवार्ड के लिए निर्धारित अवधि में ही ये फिल्म जारी हो गई। (1 जनवरी 2022 से 31 दिसंबर 2022 के बीच)
6. यदि थिएटर में फिल्म ड्राइव शुरू हो गई है तो भी ऊपर दिए गए क्षेत्र में इन थिएटर में ड्राइव करें कम से कम 7 दिनों के लिए टिकटेड शोज के ज़रिये चित्रित की जा सकती हैं।
ओट्टी फिल्म में शाम को भी हो सकता है
हालांकि इसके अलावा अगर फिल्म ब्रॉडकास्ट और केबल नेटवर्क, पे पर व्यू/वीडियो ऑन डिमांड, डीवीडी डिस्ट्रीब्यूशन, इन फ्लाइट डिस्ट्रीब्यूशन, या इंटरनेट पर सीधे उपलब्ध कराई गई हो तो पहले दिन के लिए भी उसे नाम की अलग प्रक्रिया यानी बड़ी लिस्ट के लिए चुनें जा सकता है। यदि कोई फिल्म सिर्फ किसी फिल्म फेस्टिवल में ही रिलीज हो जाती है तो उसे भी शामिल किया जा सकता है यदि निर्माता वो इनविटेशनल पात्र संलग्नक करें जिसमें उसे फेस्टिवल में फिल्म प्रदर्शन के लिए न्योता दिया गया हो।

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5 ही फाइनल एंट्री हैं
ये है कि हर श्रेणी में केवल 5 ही फाइनल एंट्री होती हैं इसलिए ये चयन प्रक्रिया बहुत कठिन होती है और अकादमी के जीवन में इस चयन प्रक्रिया को सीक्रेट बैलट के ज़रिये यानी गुप्त वोटिंग के ज़रिये अंजाम देते हैं। वर्तमान में कुल 9500 के करीब लाइफ मेंबर्स, लॉन्ग लिस्ट में से शार्ट लिस्टेड फिल्मों का चयन करते हैं। लॉन्ग लिस्ट से शॉर्ट लिस्ट की प्रक्रिया में ये तय करना मुश्किल होता है कि कितने लोग वोटिंग करेंगे, यानी संभव है कि सभी सदस्य वोट न करें। ये पता लगाना और मुश्किल होता है कि जिन लोगों ने लंबी सूची से शॉर्ट लिस्ट के लिए वोटिंग की है, इसमें शामिल लोगों के विवरण में फुटेज देखी जा सकती है।
अकादमी के हर मेम्बरान को देख रही है फिल्म
शॉर्ट लिस्ट होने के बाद करीब एक महीने का समय होता है जब फिल्म निर्माता को अकादमी के सदस्य के लिए फिल्म स्क्रीनिंग की व्यवस्था करती है। ये स्क्रीनिंग एक से ज्यादा बार आयोजित की जा सकती है और उम्मीद की जाती है कि ज्यादा से ज्यादा लाइफ मेंबर्स इस फिल्म को देखें और शॉर्ट लिस्ट के फाइनल 5 में ज्यादा से ज्यादा वोट दिलवा दें। यह प्रक्रिया बहुत खर्चीली है, समय लेती है। शॉर्ट लिस्ट की पुरानी फिल्मों से विजेता घोषित करने के लिए वो ही अकादमी में वोट कर सकते हैं, जिन पर फिल्म देखी जा सकती है।
कम से कम 20% वोट जरूरी है
शॉर्ट लिस्ट के बाद फाइनल अवार्ड के लिए तारीख 5 फिल्मों को कम से कम 20% वोट देना जरूरी है। इसके बाद वो एक और वोट पाता है उसी होश से 5 टॉप फिल्में तारीख पर जाती हैं और फिर इन टॉप 5 फिल्मों को अकादमी के लाइफ में वोट करते हैं और विजेता का नंबर आता है, जिसकी घोषणा नाइट पर स्टेज से की जाती है। यहां ये जरूरी है कि हर वोटिंग में किसी फिल्म इंडस्ट्री में कम से कम 10 साल तक एक्टिव रहना जरूरी है। अन्य श्रेणी जैसे अभिनेता, संगीत या विशेष जुगलबंदी या संपादन आदि के लिए भी अकादमी के सदस्य फिल्मों की शॉर्ट लिस्ट देख सकते हैं। इस महीने इन मेंबर्स के लिए बहुत भारी हो सकता है यदि वे शॉर्ट लिस्ट की पुरानी फिल्में नहीं देखते हैं तो। शॉर्ट लिस्टेड फिल्मों से जीत पाने के लिए अब अकादमी के सभी जीवन में, फिर वो भले ही अभिनेता या निर्देशक या निर्माता हों… सभी वोट कर सकते हैं, लेकिन उन्हें अपने वोट की स्थिति के लिए फिल्म पर दांव लगाना पड़ता है।

ऑस्कर नामांकन में भारतीय फिल्मों पर अब सबकी नजर।
वास्तव में वोटिंग की प्रक्रिया काफी जटिल है इसलिए दुनिया की जानी-मानी फर्मास प्राइसवाटर हाउसकूपर्स के ज़ेरिये सभी वोटों की स्थिति की जांच कर ली जाती है और उसके बाद ही वैध वोटों को मान्यता दी जाती है। विजेता का नाम लिखकर लिफाओं में बंद कर दिया जाता है और सभी संलग्नक एक ब्रीफकेस में दिए जाते हैं। ये ब्रीफ प्राइसवाटर हाउसकूपर्स के वरिष्ठ अधिकारियों की कलाई से बांध दिया जाता है जो कि अवार्ड की रात पर ही मंच के पीछे शटर हैं। हर बार जिस श्रेणी के विजेताओं की घोषणा होती है उसका लिफाफा निकाल कर अवार्ड प्रेजेंट करने वाले के हाथ में देते हैं। इस पूरी प्रक्रिया में कोई भी गलती होने की गुंजाईश नहीं है। पुरस्कारों से जुड़े प्राइसवाटर हाउसकूपर्स के सभी अधिकारियों को एक-एक बात गुप्त रखने के लिए गैर-प्रकटीकरण कृषि की बाध्यता ही है।
क्या है कंतारा, द कश्मीर फाइल्स का हल्लला…
इस साल भारत से कई फिल्मों की लंबी लिस्ट हुई है। लार्ज लिस्ट होने का अर्थ, अवार्ड के लिए नामांकन होने के मूल अधिकार क्रिएटेरिया को पूरा करना है। इस से अवार्ड मिलने नहीं मिलेगा। लंबी सूची की पुरानी फिल्मों के लिए जब वोटिंग होती है तो 90-95% प्रतिशत फिल्में शॉर्ट लिस्ट नहीं हो जाती हैं। जिन भारतीय निर्देशकों ने अभी से ऑस्कर अवार्ड में नामांकित होने का हल्ला मचाना शुरू कर दिया है वो अधूरा नाम है जिसे किसी तरह से ऑस्कर अवार्ड से नामांकित नहीं किया जा सकता है। ऑस्कर की लॉन्ग लिस्ट में एसएस राजमौली की आर आर आर, संजय लीला भंसाली की गंगूबाई काठियावाड़ी, विवेक अग्निहोत्री की फिल्म कश्मीर फाइल्स, ऋषभ शेट्टी की कंतारा और भारत की ओर से अधिकृत आधिकारिक प्रविष्टि, पैन नलिन की छल्लो शो यानी द लास्ट फिल्म शो। इसके अलावा मराठी फिल्मों में – बसराव और तेरी साठी कुछ ही, आर माधवन निर्देशित रॉकेट : द नम्बी मार्केटिंग, और कन्नड़ फिल्म विक्रांत रोना भी इन 301 फिल्मों में शामिल हैं। वोटिंग के बाद लंबी लिस्ट में कितनी शॉर्ट लिस्ट होगी, ये देखना बाकी है। इसके लिए 24 जनवरी 2023 तक इंतजार करना होगा।
अब तक किन भारतीयों को अकादमी अवार्ड मिल चुका है
1. भानु अथैया – रिचर्ड एटनबरो की फिल्म ग्राफिक्स में कोस्ट डिजाइन के लिए
2. सत्यजीत रे – सिनेमा में उनकी भूमिका के लिए ऑनरी ऑस्कर।
3. रेसुल पोकुटी – डैनी बॉयल की फिल्म स्लम डॉग मिलियनेयर की बेहतरीन साउंड मिक्सिंग के लिए
4. आइरा रहमान – स्लम डॉग मिलियनेयर के लिए सर्वश्रेष्ठ मूल स्कोर और “जय हो” के लिए सर्वश्रेष्ठ गीत
5. गुलज़ार – स्लम डॉग मिलियनर ने सर्वश्रेष्ठ गीत “जय हो” के लिए
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टैग: ऑस्कर पुरस्कार, आरआरआर मूवी, द कश्मीर फाइल्स
पहले प्रकाशित : 11 जनवरी, 2023, 16:05 IST



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