
मार्च में ही भीषण गर्मी
आईएमडी अलर्ट: भारत मौसम विज्ञान विभाग ने मंगलवार को एक उच्च स्तरीय बैठक में कहा कि 2023 में सामान्य गर्मी से अधिक गर्मी की संभावना है। विभाग ने कहा है कि मार्च के अंतिम सप्ताह के दौरान गंगा के क्षेत्र सीमा और पूर्वी भारत के कुछ हिस्सों में ताप सामान्य से 2-3 डिग्री से अधिक रह सकता है। कैबिनेट सचिव राजीव गौबा की अध्यक्षता में हुई समीक्षा बैठक में मौसम विभाग ने जानकारी दी है कि भूतपूर्व, पूर्व और मध्य भारत के अधिकांश हिस्सों और उत्तर पश्चिम भारत के कुछ हिस्सों में सामान्य से अधिक तापमान रहने की संभावना है।
राज्यों-केंद्र शासित प्रदेशों को अलर्ट किया गया है
आईएमडी ने गर्मी और उससे बचने के उपायों के लिए तैयारियों की समीक्षा के लिए बुलाई गई बैठक में बताया कि मार्च के अंतिम सप्ताह के दौरान गंगा के मैदानी मार्ग और पूर्वी भारत के कुछ हिस्सों में तापमान सामान्य से 2-3 डिग्री से अधिक हो सकता है। । एक आधिकारिक मारामारी के अनुसार, कैबिनेट सचिव राजीव गौवा ने कहा कि चूंकि इस साल सामान्य गर्मी से अधिक गर्मी होने की उम्मीद है, इसलिए राज्य और केंद्र पहुंच प्रदेशों को मौसम से संबंधित लोगों का सामना करने के लिए पर्याप्त रूप से तैयार रहने की आवश्यकता है ।
अधिकतम तापमान में वृद्धि होगी
आईएमडी ने मार्च से मई की अवधि के लिए और मार्च के दूसरे पखवाड़े के लिए पूर्वानुमान भी व्यक्त किए। आईएमडी ने कहा कि दक्षिण प्रायद्वीपीय भारत को छोड़कर देश के अधिकांश हिस्सों में न्यूनतम सामान्य से अधिक रहने की संभावना है और अधिकतम तापमान में भी वृद्धि उत्तरोत्तर होगी। विभाग ने आगे बताया कि शेष मार्च के दौरान कोई महत्वपूर्ण गर्मी की लहरों की उम्मीद नहीं है।
स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय के सचिव ने बताया कि जुलाई 2021 में मंत्रालय द्वारा रिलेटेड इलनेस (NAP-HRI) पर राष्ट्रीय कार्य योजना में हीट वेव, हीट से संबंधित बीमारियाँ और प्राथमिक से तृतीयक तक उनके प्रबंधन से संपत्ति की रूपरेखा तैयार की गई गया है। उन्होंने राज्यों को आवश्यक दवाएं, अंतःशिरा तरल पदार्थ, आइस पैक, ओआरएस और पीने के पानी के संदर्भ में स्वास्थ्य सुविधाओं की तैयारियों की समीक्षा करने की सलाह दी। पर्यावरण, वन और जीव परिवर्तन मंत्रालय में जीत (वन) ने वन अग्नि प्रबंधन के लिए कार्य योजना और तैयार लोगों को रेखांकन किया।
कैबिनेट सचिव ने कही ये बात
कैबिनेट सचिव राजीव गौबा ने कहा कि केंद्रीय मंत्रालय और विभाग राज्यों और अधिकार अधिकार प्रदेशों के साथ मिलकर काम कर रहे हैं, ताकि गर्मी को लेकर तैयारी के स्तर को सुनिश्चित किया जा सके और समय पर संपर्क के उपायों को लागू किया जा सके। उन्होंने मुख्य सचिवों से संबंधित विभागीय सचिवों और जिला कलेक्टरों के साथ ज़ोन की तैयारियों की समीक्षा करने का अनुरोध किया। गौबा ने स्थिति को नुकसान पहुंचाया कि केंद्रीय एजेंसियां उनके साथ अस्पष्टता से समन्वय करती रहेंगी और आवश्यक सहायता के लिए उपलब्ध रहेंगी।
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