UNITED NEWS OF ASIA. जशपुरनगर । जशपुर जिले की मनोरा तहसील की गीधा पंचायत के पहाड़ी कोरवा गांव महरंगपाठ के लोग अब भी बुनियादी सुविधाओं से दूर हैं। गांव में कोई बीमार पड़ जाए तो दो किलोमीटर पैदल सफर के बाद ही उसे एम्बुलेंस तक पहुंचाना पड़ता है। इस गांव तक पहुंचने का रास्ता खड़ी चढ़ाई वाला और फिसलन भरा है। बरसात में इस रास्ते से चढ़ते और उतरते समय पहाड़ से नीचे गिरने का खतरा बना रहता है। बरसात के पहले सड़क नहीं बनने से गांव से निकलना कठिन हो गया है।
पीएम जनमन कार्यक्रम के तहत पहाड़ी कोरबा बहुल गांवों के सर्वांगीण विकास की रूपरेखा बनाई गई है। इसके तहत बंध कोना से महरंगपाठ तक साढ़े छह किलोमीटर सड़क बनाने का निर्णय किया गया। महरंगपाठ की अधिकांश आबादी पहाड़ी कोरवाओं की है। इस गांव में लगभग 200 लोग रहते हैं। इस पीएम जनमन सड़क के बन जाने से बंध कोना से महरंगपाठ और अकिरा कोना के लोगों को सुविधा मिलेगी। इससे गांव तक पहुंचना आसान हो जाएगा।
महरंगपाठ के आगे स्थित आकिराकोना गांव की आबादी 150 है। इस गांव में भी पहाड़ी कोरवा और नगेशिया समुदाय के लोग रहते हैं। सड़क निर्माण शुरू नहीं हुआ है। इधर बारिश में कच्छे रास्ते की स्थिति बहुत खराब हो गई है। इस पर चलना दूभर है। गांव के युवक विनय यादव ने बताया कि रविवार की रात पहाड़ी कोरवा महिला साहनी बाई(48) बीमार हो गई थीं।
सड़क नहीं होने से महिला को अस्पताल पहुंचाने एम्बुलेंस नहीं आ पाई। तब विनय ने अपनी गाड़ी में अस्पताल ले जाने का निर्णय किया। उन्होंने बताया कि खड़ी चढ़ाई की वजह से गाड़ी बड़ी मुश्किल से निकल पाई। महरंगपाठ में चार पीएम आवास की ढलाई का कार्य हुआ है, बाकी अधूरे हैं। दरअसल बारिश के मौसम में मटेरियल पहुंचाने में परेशानी है। इसके अलावा बरसात के पहले ठेकेदार ने नलजल योजना की पाइप जरूर बिछा दी, लेकिन अभी पानी नहीं पहुंचा है।
बाइक को दूसरे गांव में छोड़कर पैदल दो किमी चल स्कूल पहुंचते हैं शिक्षक महरंगपाठ में प्राइमरी और मीडिल स्कूल संचालित है। स्कूल के शिक्षक अशोक साय ने बताया कि गांव के मिडिल स्कूल में 11 बच्चे पढ़ते हैं। वहीं गांव के प्राइमरी स्कूल में 14 बच्चे हैं। शिक्षक सोनक्यारी से निकलकर बंध कोना आते हैं। फिर बंध कोना में अपनी बाइक छोड़कर पैदल दो किमी दूर महरंगपाठ पहुंचते हैं। इस तरह पैदल आने-जाने में एक घंटे का समय लगता है।
बारिश के कारण अभी काम रुका
पीएमजेएसवाई के कार्यपालन अभियंता एसएन साय बताते हैं कि ठेकेदार ने सड़क को जमाने का कार्य घाटी के नीचे किया है। अभी बारिश की वजह से काम रुक गया है।