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Chhattisgarh : सरेंडर करने वाले नक्सलियों को मिलेगा प्लॉट, मकान और 10 हजार रुपए प्रति माह: गृहमंत्री विजय शर्मा

UNITED NEWS OF ASIA. रायपुर | रायपुर छत्तीसगढ़ सरकार नई एंटी नक्सल नीति के तहत सरेंडर करने वाले नक्सलियों की सुविधाओं को बढ़ाने जा रही है। गृह मंत्री और डिप्टी CM विजय शर्मा ने बताया कि नक्सलियों को सरेंडर करने पर प्रति माह 10 हजार मिलेंगे। सरेंडर करने वाले इनामी नक्सलियों पर जो इनाम की राशि होती है, वह भी नक्सलियों को ही दी जाएगी। अब तक यह राशि इनामी नक्सलियों को पकड़ने वाली फोर्स की टीम में बांट दी जाती थी।

आगे की जिंदगी जीने के लिए तमाम सुविधाएं दी जाएगी। फिर चाहे वह रहने के लिए जमीन-मकान हो या फिर रोजगार से जुड़े संसाधन। अलग खास भवनों में रखकर नक्सलियों को ट्रेंड किया जाएगा। उन्हें काम सिखाया जाएगा ताकि वह आगामी जीवन में रोजगार हासिल कर सकें।

शर्मा बोले- मुझसे किसी ने कहा, नक्सली बनना अच्छा

नई नीतियों को बेहतर बताते हुए विजय शर्मा रविवार को सुविधाएं गिनाते हुए बोले- ये फायदे सुनने के बाद मुझसे एक सीनियर पत्रकार ने कहा था कि ऐसे में तो नक्सली बनना ही अच्छा है। यह कहकर गृहमंत्री मुस्कुराए।

मांझी तय करेंगे गांव में क्या बनेगा

गृहमंत्री ने बताया कि, पंचायती राज के माध्यम से बस्तर के विकास का काम हम करने जा रहे हैं। गांवों के मांझियों (बस्तर के अंदरूनी इलाकों के जनप्रतिनिधि) की भागीदारी सुनिश्चित की जाने की मांग उठी थी, तो अब बस्तर के जिला पंचायत के सभागृह में मांझियों की बैठक होगी। जिलेवार ये बैठकें होंगी और मांझी बताएंगे कि उनको क्या-क्या निर्माण कार्य करवाने हैं। इन सभी आयामों को मिलाकर नया सॉल्यूशन समाज को देने की कोशिश है।

नक्सल नीति से जुड़ी गृहमंत्री की कुछ बड़ी बातें-

  • हम अनेक आयामों में काम हो रहे हैं। हम ये भी कर रहे हैं कि सरेंडर बढ़े, लोग नक्सलवाद में न जाए।
  • अब बस्तर के पांच जिलों में ऐसे भवन तैयार हैं, जहां पर सरेंडर करने वाले नक्सलियों को रखा जाएगा।
  • इन भवनों में उनका स्किल डेवलपमेंट किया जाएगा। वहां उनके रहने खाने के लिए 3 साल की व्यवस्था होगी।
  • जो हथियार वह लेकर के आएंगे उस हथियार से जुड़ी जो राशि घोषित है वह भी उनको दी जाएगी।
  • उनको प्लॉट दिया जाएगा, उनको प्रधानमंत्री आवास दिया जाएगा।
  • ये पॉलिसी इस उद्देश्य के साथ तैयार हुई है कि लोग मुख्यधारा में आएं। सरकार एक भी गोली नहीं चलाना चाहती।
  • IED ब्लास्ट कर और बंदूक के दम पर गांव की उन्नति को रोक देना कब तक सहा जाएगा।
  • नक्सल घटनाओं से पीड़ित और प्रभावितों के लिए अलग योजना बनी है, केंद्र से भी और राज्य की भी।
  • बस्तर के युवाओं को लगातार रायपुर लाया जाएगा, उनके एजुकेशन और स्पोर्ट्स को लेकर कार्यक्रम चलाए जाएंगे।

मार्च 2026 तक खत्म करना है नक्सलवाद

हाल ही में छत्तीसगढ़ दौरे पर आए केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने कहा था कि 31 मार्च 2026 तक नक्सलवाद खत्म हो जाएगा। इसके बाद से ही प्रदेश में एनकाउंटर और नक्सलियों के खिलाफ दूसरे तरीकों की कार्रवाई बढ़ी है। प्रदेश सरकार का दावा है कि एक साल में 212 से अधिक नक्सली एनकाउंटर में मारे गए हैं। इतने एनकाउंटर पिछली सरकारों के 5-5 साल के कार्यकाल में भी नहीं हुए थे।

छत्तीसगढ़ में नक्सलवाद को पूरी तरह खत्म करने के लिए रणनीति में बड़े स्तर पर बदलाव की जा रही है। यह बदलाव जनवरी के पहले सप्ताह में दिल्ली की बैठक में मंजूर हो सकता है। नए प्लान के अनुसार 2025 दिसंबर तक फोर्स अबूझमाड़ को पूरी तरह घेर लेगी, क्योंकि नक्सली सुकमा-बीजापुर माड़ में शिफ्ट हो रहे हैं।

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Saurabh Namdev

| PR Creative & Writer | Ex. Technical Consultant Govt of CG | Influencer | Web developer
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