














UNITED NEWS OF ASIA. रायपुर। महादेव सट्टा एप को लेकर छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने CBI की छापेमारी पर कड़ा सवाल उठाया है। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए उन्होंने पूछा – “जब हमारी सरकार ने ही इस एप के खिलाफ कार्रवाई की थी, तो हम पर संरक्षण देने का आरोप कैसे लगाया जा सकता है?”
भूपेश बघेल ने अपने पोस्ट में लिखा कि महादेव एप के बारे में देश में कोई नहीं जानता था, लेकिन उनकी सरकार में ही 74 FIR दर्ज हुईं, 200 से अधिक गिरफ्तारियां हुईं, और 2000 से ज्यादा बैंक खाते सीज किए गए। उन्होंने आगे कहा कि उनकी सरकार ने गूगल को पत्र लिखकर प्ले स्टोर से इस एप को हटाने तक की पहल की थी।
पूर्व मुख्यमंत्री ने ईडी पर भी सवाल उठाते हुए कहा कि “ईडी ने झूठी खबर फैलाई कि सौरभ चंद्राकर और रवि उप्पल दुबई में गिरफ्तार हो चुके हैं, लेकिन वे वहाँ शिवकथा की जजमानी करते पाए गए।” उन्होंने पूछा, “तो फिर ये कैसी जांच है?”
भूपेश बघेल ने आरोप लगाया कि CBI ने न तो रायपुर स्थित उनके सरकारी आवास में कोई सूचना दी, न ही भिलाई निवास में। उन्होंने कहा कि “मेरी अनुपस्थिति में मेरे शासकीय आवास में बिना सूचना दिए प्रवेश करना पूरी तरह से अनाधिकृत है।” साथ ही उन्होंने आशंका जताई कि “क्या भाजपा अब CBI के जरिए कोई नया षड्यंत्र रच रही है?”
CBI की इस कार्रवाई के राजनीतिक मायने क्या हैं? क्या यह विपक्ष को दबाने की साजिश है, या फिर किसी बड़े खुलासे की आहट? इस पर राजनीतिक गलियारों में चर्चाएं तेज हो गई
You cannot copy content of this page