‘द काठमांडू पोस्ट’ की खबर के मुताबिक, जनता समाजवादी पार्टी के 52 वर्षीय नेता पार्टी को 184 संघीय और 329 प्रांतीय जनप्रतिनिधियों के 30,328 मत मिले। चुनाव आयोग ने अब तक आधिकारिक तौर पर कनेक्शन की घोषणा नहीं की है।
नेपाल के मधेस क्षेत्र के नेता रामसहाय यादव देश के तीसरे उपराष्ट्रपति निर्वाचित हुए हैं। पद के लिए हुए चुनाव की मतगणना शुक्रवार को संपन्न हुई। यादव को नेपाल के आठ दलीय संबद्धता का समर्थन प्राप्त था और उन्होंने सीपीएन-यू विधायकों की आस्था लक्ष्मी शाक्य और जनमत पार्टी की ममता को झांसी दी है। ‘द काठमांडू पोस्ट’ की खबर के मुताबिक, जनता समाजवादी पार्टी के 52 वर्षीय नेता पार्टी को 184 संघीय और 329 प्रांतीय जनप्रतिनिधियों के 30,328 मत मिले। चुनाव आयोग ने अब तक आधिकारिक तौर पर कनेक्शन की घोषणा नहीं की है।
खबरों में कहा गया है कि उनकी अपनी पार्टी के अलावा नेपाली कांग्रेस, सीपीएन-माओइस्ट सेंटर और सीपीएन-यूनिफाइड सोशलिस्ट के जनप्रतिनिधियों ने अपने पक्ष में मतदान किया। इसमें कहा गया है कि शाक्य को 104 संघीय और 169 प्रांतीय जनप्रतिनिधियों का वोट मिला जबकि झा को 23 संघीय और 15 प्रांतीय जनप्रतिनिधियों से नहीं मिला। मधेस क्षेत्र के नेता यादव निवर्तमान उपराष्ट्रपति नंद बहादुर पुन का स्थान सच सच पूरा हो गया है।
नेपाल के दक्षिणी तराई क्षेत्र में रहने वाले मधेसी समुदाय के लोगों में ज्यादातर भारतीय मूल के हैं। संघीय संसद के 332 सदस्यों और प्रांतीय विधानसभाओं के 550 सदस्यों के सदस्यों का कुल मान 52,628 है। किसी प्रत्याशी को जीतने के लिए 26,315 मतों की आवश्यकता होती है। वर्ष 2008 में नेपाल ने संघीय लोकतांत्रिक व्यवस्था को संगठित किया जिसके बाद उपराष्ट्रपति पद के लिए तीसरा चुनाव हुआ। उपराष्ट्रपति का कार्यकाल पांच वर्ष का है। यादव ने अपनी राजनीतिक यात्रा की शुरुआत 1990 में नेपाल सद्भावना पार्टी से की थी। वह मधेसी जन अधिकार फोटो के संस्थापक थे और पहले मधेश आंदोलन (2007) में उनकी सक्रिय भूमिका थी। यादव पिछले साल नवंबर में चुनाव में बारा-2 से प्रतिनिधि सभा के लिए तब गए थे।
अस्वीकरण:प्रभासाक्षी ने इस खबर को निराशा नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआइ-भाषा की भाषा से प्रकाशित की गई है।