
UNITED NEWS OF ASIA. रायपुर। नगरीय निकायों में चुनाव के लिए वार्डों के आरक्षण के बाद अब निकायों के महापौर और अध्यक्षों के पदों का आरक्षण टल गया है। अब नए साल में नई तारीख में पदों का आरक्षण होगा। वहीं खबर आ रही है कि इस बार नगरीय निकाय चुनाव और पंचायत चुनाव बैलेट पेपर से होंगे। 7 जवनरी को सभी नगर निगम, नगर पालिका और नगर पंचायतों के आरक्षण रायपुर में किया जाएगा। संभावित स्थान रायपुर पंडित दीनदयाल उपाध्याय ऑडिटोरियम ही होगा। इस संबंध में नगरीय प्रशासन विभाग ने नई सूचना जारी कर दी है। वहीं इसके बाद प्रदेश में अचार संहिता लगना संभावित है।
मुख्य बिंदु:
- चुनाव का स्वरूप: नगरीय निकाय और पंचायत चुनाव बैलेट पेपर के माध्यम से कराए जाएंगे।
- अचार संहिता: 7 जनवरी 2024 के बाद अचार संहिता लागू होने की संभावना है।
- चुनाव का समय: पंचायत और नगरीय निकाय चुनाव के लिए संभावित तारीखें फरवरी-मार्च 2024 मानी जा रही हैं।
- चुनाव आयोग की तैयारियाँ: 10 लाख बैलेट पेपर छपाई के लिए आदेश दिए गए हैं।
- वोटिंग पद्धति: इस बार नगरीय और पंचायत चुनावों में ईवीएम के बजाय पारंपरिक बैलेट पेपर प्रणाली का उपयोग होगा।
चुनाव आयोग का फैसला:
चुनाव आयोग ने आगामी नगरीय निकाय और पंचायत चुनावों में बैलेट पेपर का उपयोग करने का निर्णय लिया है। आयोग ने यह फैसला विभिन्न जिलों से आए फीडबैक के आधार पर लिया है, जहाँ तकनीकी समस्याओं के चलते बैलेट पेपर प्रणाली को ज्यादा भरोसेमंद माना गया है।
7 जनवरी के बाद लागू हो सकती है अचार संहिता:
चुनाव आयोग ने संकेत दिया है कि 7 जनवरी 2024 के बाद कभी भी अचार संहिता लागू हो सकती है। इसके तहत सभी चुनावी गतिविधियाँ नियमों के अधीन होंगी, और सरकारी घोषणाएँ तथा योजनाएँ रोक दी जाएंगी ताकि चुनाव प्रक्रिया पारदर्शी रहे।
चुनाव की संभावित तिथियाँ:
चुनाव आयोग ने अनुमानित रूप से फरवरी-मार्च 2024 में पंचायत और नगरीय निकाय चुनाव कराने का विचार किया है। इस चुनाव में राज्य भर के लगभग 25 लाख मतदाता भाग लेंगे।
बैलेट पेपर प्रणाली का उपयोग:
इस बार बैलेट पेपर का उपयोग करने के पीछे यह विचार है कि यह प्रणाली ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में आसानी से संचालित की जा सकेगी। ईवीएम के मुकाबले बैलेट पेपर को अधिक पारंपरिक और सुलभ समझा जाता है, विशेष रूप से उन क्षेत्रों में जहाँ तकनीकी चुनौतियाँ मौजूद हैं।
चुनाव आयोग ने लगभग 10 लाख बैलेट पेपर छपाई के लिए आदेश जारी किए हैं। प्रत्येक उम्मीदवार को अलग-अलग रंग के बैलेट पेपर दिए जाएंगे, ताकि मतदाताओं को किसी भी तरह की असुविधा न हो।
अचार संहिता के दौरान क्या होगा:
अचार संहिता लागू होने के बाद सभी सरकारी अधिकारियों को चुनाव प्रक्रिया में सक्रिय भूमिका निभानी होगी। इसके अंतर्गत:
- सभी प्रकार की सरकारी घोषणाओं पर रोक होगी।
- चुनाव के दौरान किसी भी प्रकार की आर्थिक मदद या अनुदान नहीं दिया जाएगा।
- सरकारी धन का उपयोग चुनाव प्रचार में नहीं किया जा सकेगा।
निष्पक्ष चुनाव की तैयारी:
चुनाव आयोग ने निष्पक्ष चुनाव कराने के लिए विशेष इंतजाम किए हैं। इसके तहत:
- निगरानी टीमें गठित की जा रही हैं।
- विभिन्न क्षेत्रों में विशेष पर्यवेक्षक नियुक्त किए जाएंगे।
- हर मतदान केंद्र पर सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे।



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